गाँधीजनों ने बड़ी संख्या में इकट्ठा होकर शास्त्री घाट से निकाला प्रतिरोध मार्च
Varanasi: 25 जुलाई । रेलवे द्वारा सर्व सेवा संघ के कार्यालयों और जमीनों पर कब्जा करने के बाद देश के अलग अलग हिस्सों में काफी विरोध प्रदर्शन हो रहे हैं। वाराणसी में आज सर्व सेवा संघ परिसर पर रेलवे के अवैध कब्जे के खिलाफ गाँधीजनों ने बड़ी संख्या में इकट्ठा होकर शास्त्री घाट से प्रतिरोध मार्च निकाला जिसमें सामाजिक कार्यकर्ता,छात्र-छात्राएं, राजनीतिक दलों के प्रतिनिधि एवं प्रबुद्धजन शामिल हुए। इस प्रतिरोध मार्च में बड़ी संख्या में महिलाओं ने भी भागीदारी की ।
इस सभा में सर्व सेवा संघ अध्यक्ष चंदन पाल, रामधीरज भाई, आशा बहन, अरविंद अंजुम, गांधी स्मारक निधि के अध्यक्ष रामचन्द्र राही, फादर आनंद, सतीश सिंह, संजीव सिंह, नंदलाल मास्टर, अफलातून, नीति भाई, रामजनम, महेंद्र, संत प्रकाश, मनीष शर्मा, विनोद, जागृति राही, धनंजय त्रिपाठी, अनूप श्रमिक, जितेंद सहित अनेक प्रबुद्ध जनों ने सहभागिता की।
प्रतिरोध सभा में कहा गया कि यह लड़ाई सिर्फ जमीन की नहीं बल्कि गांधी, विनोबा, जेपी के विचारों को बचाने की लड़ाई है। सर्व सेवा संघ प्रकाशन की 3 करोड़ से अधिक की किताबों को खुले में फेंक दिए जाने को राष्ट्रपिता महात्मा गांधी का अपमान बताया गया। गांधी, विनोबा, जेपी और तमाम स्वतंत्रता सेनानियों के हस्तलिखित कागजात आजादी के आंदोलन की धरोहर हैं। उन्हें कूड़े की तरह जमीन पर फेंक दिया गया। प्रशासन की इस गुंडागर्दी पर सवाल पूछने और असहमति जताने पर वरिष्ठ गाँधीजनों को गिरफ्तार करके जेल भेज दिया गया।
गांधी, नेहरू, जेपी, बाबू जगजीवनराम, लालबहादुर शास्त्री के विचार और कर्म से बने सर्व सेवा संघ के गेट पर आज रेलवे का बैनर लटका हुआ है। अंदर जाना दण्डनीय अपराध बतलाया जा रहा है।
प्रतिरोध सभा में वक्ताओं ने कहा कि गांधी, विनोबा भावे और जयप्रकाश का घर उजाड़ा गया है। कल लोहिया, अंबेडकर, लाल बहादुर शास्त्री, नेहरू, टैगोर सुभाष बोस, चौधरी चरण सिंह और सभी धर्मों सिख, जैन पारसी, ईसाई को भी उजाड़ा और भगाया जाएगा। इसलिए अगर समझ सकते हैं तो समझ जाइए, नहीं तो मिटने और हटने के लिए हमारे जैसे आप भी तैयार रहें।
सर्व सेवा संघ से जुडे प्रबुद्धजनों ने कहा कि जब सरकार खुद कानून को न माने और पुलिस के बल पर लोगों के घर को खाली करवा दें। तब अन्याय और अत्याचार से लड़ने का एकमात्र रास्ता तपस्या ही होता है। इसलिए आइए हम सब लोग मिलकर और तपस्या करें और देश को टूटने और बर्बाद होने से बचाएं।
इधर, बनारस के नागरिक समाज ने इस संघर्ष को अपने हाथों में लेने का संकल्प लिया है। देश भर से आए वरिष्ठ गाँधीजनों का अपना परिसर सर्व सेवा संघ अवैध कब्जे में जाने की वजह से इन वरिष्ठजनों को बनारस में रहने में दिक्कत आ रही है, इस पर बनारस के नागरिक समाज ने गांधी जनों के रहने खाने और साथ रहने की अपील की और आश्वासन दिया कि आप सब इस लड़ाई में अकेले नहीं है, बल्कि बनारस का आम नागरिक भी जुड़ेगा।
वहीं दूसरी ओर सर्व सेवा संघ परिसर पर रेलवे के अवैध कब्जे के खिलाफ ओड़िशा की राजधानी भुवनेश्वर में लोहिया अकादमी में उत्कल सर्वोदय मंडल, उत्कल गांधी स्मारक निधि, गांधी शांति प्रतिष्ठान, और राष्ट्रीय युवा संगठन की ओर से प्रेसवार्ता आयोजित की गयी। प्रेसवार्ता को जस्टिस मनोरंजन मोहंती, गौरांग चंद्र महापात्र, मिहिर प्रताप दास, डॉ विश्वजीत, जयंत कुमार दास, ज्ञानरंजन सामंतरा और मानस पटनायक ने संबोधित किया।